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Stories By Mohd Sakib

हम सब की धड़कन और

  • Author   Mohd Sakib

वह हम सब की धड़कन है लेकिन वह मेरी धड़कन है यह कैसी एक धड़कन है कितनी आवाज आई लेकिन हमने मुड़ के ना देखा तुमने कहां हो मेरी धड़कन है घर को छोड़ा दोस्तों को छोड़ा फिर तुमसे रिश्ता जोड़ा तो फिर तुमने किससे रिश्ता जोड़ा हम तो पागल हो गए तुम अपनी बताओ

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